AB de Villers

क्रिकेट का महामानव : एबी डिविलियर्स

Super Human of Cricket AB de Villiers – दक्षिण अफ्रीका की राष्ट्रीय हाकी और फुटबाल टीमों के लिये संभावित खिलाड़ियों में एक बार उसका नाम शामिल था। वह दक्षिण अफ्रीका जूनियर रग्बी टीम का कप्तान रहचुका है। दक्षिण अफ्रीका के जूनियर वर्ग में 100 मीटर की दौड़ सबसे कम समय में पूरी करने का रिकार्ड एक समय उसके नाम पर था। दक्षिण अफ्रीका के स्कूल स्तर पर तैराकी केछह रिकार्ड अब भी उसके नाम पर दर्ज हैं। 

वह दक्षिण अफ्रीका की जूनियर डेविस कप टीम का सदस्य रह चुका है। बैडमिंटन में वह अंडर . 19 वर्ग में राष्ट्रीय चैंपियन रह चुका है।बहुत अच्छा गोल्फर है। यदि पढ़ाई की बात करें तो विज्ञान के एक प्रोजेक्ट पर उसे महान नेल्शन मंडेला से राष्ट्रीय पदक मिला था। यदि संगीत की बात करें तो उसकी कुछ एलबमेंरिलीज हो चुकी हैं।

लेकिन इस व्यक्ति की असली पहचान यह है कि वह बेहतरीन बल्लेबाज है और दक्षिण अफ्रीका की तरफ से 114 टेस्ट, 228 वनडे और 78 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेलचुका है। वह बेहतरीन बल्लेबाज है, विकेटकीपर है, बेजोड़ कप्तान है, क्षेत्ररक्षक के रूप में उसकी चपलता का जवाब नहीं और जरूरत पड़ने पर गेंदबाजी भी कर सकता है। अबआप समझ गये होंगे कि हम एबी डिविलियर्स की बात कर रहे हैं।

असल में महामानव आम इंसान जैसे ही होते हैं लेकिन उनके काम महामानव जैसे होते है। डिविलियर्स भी ऐसे हीमहामानव हैं क्योंकि उन्होंने जिस क्षेत्र में कदम रखा उसमें अपनी छाप छोड़ी। आईपीएल में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोर की तरफ से कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाफ 33 गेंदों पर 73 रन की पारी के बाद भारतीय कप्तान विराट कोहली ने भी उन्हें सुपर ह्यूमन यानि महामानव कहा था।

डिविलियर्स संपूर्ण बल्लेबाज हैं जो किसी भी नंबर, किसी भी तरह की परिस्थिति और किसी भी तरह के आक्रमण के खिलाफ खेलने में सक्षम हैं। तभी तो बाब विलिस ने एक बार कहा था कि वह विव रिचर्ड्स को डान ब्रैडमैन से भी सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज मानते थे लेकिन डिविलियर्स को देखकर उनकी धारणा बदल रही है।

एबीडी यानि हर खेल से प्यार

प्रिटोरिया में 17 फरवरी 1984 को जन्में अब्राहम बेंजामिन डिविलियर्स को बचपन में ही खेलों में डाल दिया गया और इसके बाद उन्होंने जिस खेल में हाथ आजमाया उसमेंउन्होंने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। असल में डिविलियर्स को शुरू से ही कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ा। उनके दोनों बड़े भाईयों जेन और वेसेल्स ने उन्हें मजबूत खिलाड़ीबनाने में अहम भूमिका निभायी। स्वयं डिविलियर्स के शब्दों में, ”मेरे भाई कतई रहम नहीं खाते थे। मुझे तब वे दानव लगते थे। अक्सर मेरे आंसू निकल आते थे।”

डिविलियर्स के घर में खेलों का माहौल था। उनके माता पिता दोनों खिलाड़ी थे और दोनों भाई भी खेलते थे। एबी को भी अपना खेल चुनने की आजादी दी गयी। वहअसमंजस में थे। उनका पहला प्यार था टेनिस। वह अपनी किशोरावस्था शुरू होने तक टेनिस खेलते रहे। तब लगने लगा था कि यह लड़का आगे जाकर टेनिस में देश काप्रतिनिधित्व करेगा। 

लेकिन समय के साथ एबी क्रिकेट और रग्बी की तरफ आकर्षित होने लगे। इस बीच उन्हें दक्षिण अफ्रीका के खेलों के एक प्रमुख संस्थान में दाखिला मिल गयाजहां क्रिकेट उनका प्यार बन गया। इस बीच हालांकि वह फुटबाल, हाकी, रग्बी और बैडमिंटन आदि भी खेलते रहे और अपनी स्कूल में इन सभी खेलों की टीमों का हिस्सा रहे।

एम्पी डु प्रीज के साथ म्यूजिक एलबम निकाल चुके हैं एबीडी

डिविलियर्स ने दिसंबर 2004 में दक्षिण अफ्रीका की तरफ से टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया और तब से लगातार खेलते रहे। वर्तमान समय में जबकि खिलाड़ियों के लिये फिटनेससबसे बड़ी चिंता रहती है तब लगातार दस साल बिना मैच गंवाये खेलने से पता चलता कि खिलाड़ी कितना फिट है। वह भी ऐसा खिलाड़ी जिसने विकेटकीपिंग भी की।

यह तो रही क्रिकेट की बातें। यदि क्रिकेट से इतर की बात करें तो डिविलियर्स बहुत अच्छे गायक हैं। उन्होंने अपने दोस्त एम्पी डु प्रीज के साथ मिलकर एलबम भी निकाली हैं।वह खुद गीत भी लिखते हैं और बहुत अच्छी गिटार बजाते हैं। आईपीएल में रायल चैलेंजर्स बेंगलूर की तरफ से खेलने वाले डिविलियर्स ने इस दौरान हिन्दी गीत गाने की भी कोशिशकी थी लेकिन बकौल डिविलियर्स, ”उच्चारण को लेकर उन्हें थोड़ी परेशानी हो रही है  ” हिन्दी फिल्मों का उनका पसंदीदा गाना शोले का ”ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे” है।

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